Friday, 9 March 2018

अगस्त्यकुडम : प्रकृति का सौन्दर्यबोध

   केरल का 'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" प्रकृति की गोद में रचा-बसा सौन्दर्यबोध का एक शानदार प्रतिमान है। पर्वत श्रंखला का यह हिल स्टेशन श्रद्धा, आस्था एवं विश्वास के साथ ही प्रफुल्लता को भी समेटे है। 

  सैर-सपाटा करना हो... मौज-मस्ती करनी हो या फिर कामकाज की थकान से सुकून महसूस करना हो तो 'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" में कुछ दिन... कुछ पल अवश्य ठहरें। इस हिल स्टेशन में सर्दियों में कोहरा की चादर चहंुओर दिखने के मजे ही कुछ आैर हैं। बाग-बगीचे, वनस्पतियों की पौध श्रंखला व वन्यजीवों की हलचल एक सुखद एहसास कराती है।
  'अगस्त्यकुडम" को एक हिल स्टेशन के साथ ही एक श्रेष्ठतम पक्षी अभ्यारण के तौर पर भी जाना पहचाना जाता है। 'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" केरल की शीर्ष दूसरी पर्वत चोटी है। 'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" को खास तौर से शिखर ऋषि अगस्त्य के नाम से जाना जाता है। 'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" को स्वर्गाश्रम की संज्ञा भी दी जाती है।
   'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" तिरुवनंतपुरम क्षेत्र में स्थित है। सुबह होते ही पक्षियों का कलरव कानों में शहद सा घोलने लगता है। पक्षियों की देशी-विदेशी प्रजातियां दर्शकों-पर्यटकों को मुग्ध कर देती हैं। ऋषि अगस्त्य के नाम से स्थल होने के कारण 'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" को एक लोकप्रिय तीर्थ के तौर पर भी देखा जाता है। पुराणों में सात ऋषियों अर्थात सप्तर्षि की मान्यता है। अगस्त्य ऋषि भी इनमें से एक थे। हिल स्टेशन के शीर्ष पर ऋषि अगस्त्य की पूर्ण आकार की प्रतिमा विद्यमान है।
   यह क्षेत्र अगस्त्यमाला बायोस्फीयर रिजर्व के तहत माना जाता है। इस क्षेत्र को यूनेस्को ने मार्च 2016 में बायोस्फीयर रिजर्व के विश्व नेटवर्क में शामिल किया है। विशेषज्ञों की मानें तो 'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" में आैषधीय  वनस्पतियों का अपार भण्डारण है। दुलर्भ जड़ी बूटियों का क्षेत्र भी माना जाता है। 
  'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" क्षेत्र में लाईसेंस, ऑर्किड, काई व फर्न सहित दो हजार से अधिक प्रजातियां यहां उपलब्ध हैं। शायद यही कारण है कि 'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" की आबोहवा में आैषधीय गुण-तत्व महसूस होते हैं।यहां यूरोपीय देशों की दुलर्भ वनस्पतियां भी आसानी से उपलब्ध हैं।  लिहाजा पर्यटन के साथ-साथ स्वास्थ्य लाभ की दृष्टि से भी 'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" का सैर-सपाटा हितकारी है।
  'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" की निकटता नेयरार बांध से भी है। साथ ही बोनाकोड़ से भी जा सकते हैं। 'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" पर जाने के लिए करीब भूतल से करीब डेढ़ घंटा का सफर तय करना होता है। 'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" में एहसास होता है कि जैसे बादलों की गोद में आ गये हों। 'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" की यात्रा के लिए ट्रैकिंग भी कर सकते हैं लेकिन इसके लिए स्थानीय स्तर पर अनुमति आवश्यक है। 'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" क्षेत्र में कलक्कड मुंडथुराई टाइगर रिजर्व भी है।
   मंजोलई पहाड़ी : मंजोलई पहाड़ी भी 'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" क्षेत्र का एक विशेष आकर्षण है। एक हजार से डेढ़ हजार मीटर ऊंचाई के बीच वाला मंजोलई पहाड़ी तिरुनेलवेली जिला के तहत आती है। कलक्कड़ मंुडथुराई टाइगर रिजर्व इसी के पश्चिमी क्षेत्र में स्थित है। मनिमोथार बांध एवं मनिमोथार जलधारा के शीर्ष वाले इलाके में खूबसूरत चाय बागानों की एक लम्बी श्रंखला है। कोडाययार बांध व कुशीरवेटी विशेष आकर्षण है। 'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" क्षेत्र के चाय बागान एवं मंजलोई एस्टेट्स देश दुनिया में अपनी एक अलग खास पहचान रखते हैं।
   'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" की यात्रा के लिए निकटतम हवाई अड्डा त्रिवेन्द्रम इण्टरनेशनल एयरपोर्ट है। एयरपोर्ट से 'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" की दूरी करीब सत्तर किलोमीटर है। निकटतम रेलवे स्टेशन थिरुवनन्तपुरम सेन्ट्रल है। यहां से 'अगस्त्यकुडम हिल स्टेशन" की दूरी करीब साठ किलोमीटर है।
8.616307.77.246048

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