धर्मकोट हिल स्टेशन: सौन्दर्य का इन्द्रधनुुषी रंग
धर्मकोट हिल स्टेशन को प्राकृतिक सौन्दर्य का इन्द्रधनुषी रंग कहा जाना चाहिए। जी हां, धर्मकोट हिल स्टेशन का प्राकृतिक सौन्दर्य अद्भुत एवं विलक्षण है।
शायद यही कारण है कि धर्मकोट वैश्विक पर्यटकों को आकर्षित करता है। भारत के हिमाचल प्रदेश के कांगड़ा जिला का यह शानदार एवं सुन्दर हिल स्टेशन अपने शांत परिवेश एवं सुरम्यता के लिए खास तौर से प्रसिद्ध है।
खास तौर से धर्मकोट हिल स्टेशन पर्वतीय सौन्दर्य का शानदार आयाम है। पर्वत श्रंखला से घिरा यह सुन्दर हिल स्टेशन पर्यटकों को एक शांत सुरम्यता प्रदान करता है। आैषधीय वनस्पतियों का सघन वन क्षेत्र पर्यटकों को भरपूर आक्सीजन प्रदान करता है।
लिहाजा पर्यटकों को एहसास होता है कि जैसे फेफड़ों को पंख लग गये हों। धर्मकोट हिल स्टेशन से पर्यटक हिमालय के सौन्दर्य का शानदार दर्शन कर आनन्द एवं रोमांच की अनुभूति कर सकते हैं। घाटियों-वादियों का भरपूर आनन्द पर्यटकों को प्रफुल्लित कर देता है।
मखमली घास के विहंगम मैदान एवं ढ़लान पर्यटकों को सुखद अनुभूति कराते हैं। पर्यटकों को धर्मकोट हिल स्टेशन की यात्रा मार्च से लेकर सितम्बर की अवधि के मध्य करनी चाहिए। बर्फबारी का आनन्द लेना हो तो सर्दियों में धर्मकोट हिल स्टेशन का रूख करना चाहिए। सर्दियों में चौतरफा बर्फ की चादर दिखती है। ऐसा प्रतीत होता है कि जैसे पर्यटक किसी अन्य लोक में हों।
धर्मकोट हिल स्टेशन में विपश्यना केन्द्र, धम्म शिकारा, तुशिता ध्यान केन्द्र, बौद्ध धर्म अध्ययन केन्द्र आदि इत्यादि बहुत कुछ है।
समुद्र तल से करीब 2842 मीटर ऊंचाई पर स्थित धर्मकोट हिल स्टेशन अपने आसपास आकर्षक स्थानों की शानदार श्रंखला रखता है। इनमें खास तौर से मैक्लोड़गंज, त्रिउन्द, कांगड़ा किला, देवी हिमानी चामुण्डा आदि इत्यादि हैं।
मैक्लोड़गंज: मैक्लोड़गंज धर्मकोट हिल स्टेशन से करीब 9 किलोमीटर दूर है। इस स्थान के उपरी क्षेत्र को धर्मशाला माना जाता है। खास यह कि इस इलाके में ब्रिटिश काल की इमारतों एवं सुन्दर चर्च का वास्तुशिल्प अति दर्शनीय है।
ब्रिटिश अफसर लॉर्ड एलगिन को यह इलाका बेहद पसंद था। खास यह कि मैक्लोड़गंज में कई प्रसिद्ध बौद्ध मठ एवं सुन्दर मंदिर हैं। यहां एक बौद्ध संग्रहालय भी है। इस शानदार संग्रहालय में तिब्बत की कला एवं संस्कृति के शानदार दर्शन किये जा सकते हैं। प्राचीन किला भी यहां की शान एवं शोभा हैं।
त्रिउन्द: त्रिउन्द वस्तुत: धौलाधार पर्वत श्रंखला की गोद में रचा बसा यह एक सुन्दर एवं प्राचीन गांव है। ट्रैकर्स के लिए त्रिउन्द किसी स्वर्ग की भांति है। समुद्र तल से करीब 2842 मीटर ऊंचाई पर स्थित त्रिउन्द गांव वस्तुत: लोक संस्कृति को रेखांकित करता है। हिमालय की पर्वत श्रंखला के सौन्दर्य का शानदार दर्शन त्रिउन्द से किया जा सकता है। धर्मकोट हिल स्टेशन की यात्रा के साथ त्रिउन्द की यात्रा अवश्य करनी चाहिए।
कांगड़ा किला: कांगड़ा किला वस्तुत: हिमाचल की प्राचीन धरोहर है। इसका वास्तुशिल्प अति दर्शनीय है।
देवी हिमानी चामुण्डा: देवी हिमानी चामुण्डा की यात्रा पर्यटक देवी दर्शन कर सकते हैं। समुद्र तल से करीब 10500 फुट की ऊंचाई पर स्थित देवी हिमानी चामुण्डा का यह मंदिर कांगड़ा के प्रसिद्ध स्थानों में से एक है।
देवी हिमानी चामुण्डा: देवी हिमानी चामुण्डा की यात्रा पर्यटक देवी दर्शन कर सकते हैं। समुद्र तल से करीब 10500 फुट की ऊंचाई पर स्थित देवी हिमानी चामुण्डा का यह मंदिर कांगड़ा के प्रसिद्ध स्थानों में से एक है।
मान्यता है कि चामुण्डा देवी के दर्शन मात्र से श्रद्धालुओं का कल्याण होता है। देवी चामुण्डा के अलावा यहां भगवान शिव एवं भगवान हनुमान जी को समर्पित दो अन्य मंदिर भी हैं।
धर्मकोट हिल स्टेशन की यात्रा के लिए सभी आवश्यक संसाधन उपलब्ध हैं। निकटतम एयरपोर्ट धर्मशाला एयरपोर्ट है। निकटतम रेलवे स्टेशन पठानकोट जंक्शन है। पर्यटक सड़क मार्ग से भी धर्मकोट हिल स्टेशन की यात्रा कर सकते हैं।
32.101500,76.273200
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